RNI - NO : CHHHIN/2015/65786

March 26, 2023 6:22 PM

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संसदीय सचिव श्री चंद्राकर ने पैर पखारकर बुजुर्गों का सम्मान कर लिया आशीर्वाद

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शंकराचार्य भवन में मनाया गया अंतर्राष्ट्रीय वृद्धजन दिवस
स्वास्थ्य परीक्षण, खेल कूद प्रतियोगिता, सामग्री वितरण सहित शॉल एवं श्रीफल से हुए सम्मानित

महासमुंद ट्रैक सीजी गौरव चंद्राकर/अंतर्राष्ट्रीय वृद्धजन दिवस पर आज जिला मुख्यालय महासमुंद के शंकराचार्य सांस्कृतिक भवन में जिला स्तरीय सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। इस अवसर पर वृद्धजनों का स्वास्थ्य परीक्षण, खेलकूद प्रतियोगिता के साथ ही जरूरतमंद वृद्धजनों को सहायक उपकरण भी प्रदान किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि संसदीय सचिव एवं महासमुंद विधायक श्री विनोद सेवनलाल चंद्राकर ने वृद्धजन दिवस के अवसर पर वृद्धजनों का जल से पैर पखारकर, शॉल, श्रीफल भेंट कर तथा फूलों की माला पहनाकर सम्मानित किया।
इस अवसर पर नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष श्रीमती राशि महिलांग, कृषि उपज मंडी के अध्यक्ष श्री हीरा बंजारे, मंडी उपाध्यक्ष गोविंद साहू, जिला स्काउट गाइड के अध्यक्ष श्री दाऊलाल चंद्राकर, डॉ. रश्मि चंद्राकर, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री एस. आलोक, समाज कल्याण विभाग के उप संचालक श्रीमती संगीता सिंह, श्री संजय पांडेय, जनप्रतिनिधि गण, गणमान्य नागरिक एवं वृद्धजन बड़ी संख्या में उपस्थित थे।

संसदीय सचिव श्री चंद्राकर ने संबोधित करते हुए कहा कि वृद्धजनों का सम्मान करना पुण्य का काम है। बुजुर्गों का सम्मान करना हमारी परंपरा है। वृद्धजनों से हमें प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से सदैव मार्गदर्शन मिलता है। जिन घरों में बुजुर्गों की कद्र नहीं होती वहां संस्कारों का अभाव रहता है। वहीं जहां बुजुर्गों को सम्मान दिया जाता है वह घर उन्नति के रास्ते पर चलता है। हम सभी को बुजुर्गों का सम्मान करना चाहिए। इसकी शुरुआत हर व्यक्ति को अपने आस-पास के मौजूद लोगों से करनी चाहिए। लोगों को यह ध्यान रखना चाहिए कि प्रत्येक व्यक्तियों को बुढ़ापा का सामना करना होता है। इसलिए हमें अपने बुजुर्गाें का सम्मान करना चाहिए। क्यों कि हम जैसा व्यवहार कर रहे हैं, वैसा ही लोगों से अपने लिए उम्मीद करेंगे। उन्होंने कहा कि हमारी संस्कृति में वृद्धों को अत्यंत उच्च एवं आदर्श स्थान प्राप्त है। लेकिन विडंबना है कि आज पूरे परिवार को बरगद की तरह छांव फैलाने वाला व्यक्ति को वृद्धाश्रम में असहाय रहना पड़ता है। सोच बदलने व जनचेतना जगाने से वृद्धाश्रम की जरूरत नहीं पड़ेगी।
संसदीय सचिव एवं विधायक श्री चंद्राकर सहित अन्य अतिथियों ने 20 विशिष्ट वृद्धजनों को शॉल, श्रीफल एवं मोमेंटो प्रदान किया गया। 600 वृद्धजनों को कम्बल एवं दैनिक उपयोग हेतु किट, 11 श्रवण यंत्र, 10 छड़ी, खेल एवं सांस्कृति कार्यक्रम में बेहतर प्रदर्शन करने वाले वृद्धजनों को पुरस्कृत किया। कार्यक्रम में जिले के अलग-अलग जनपद पंचायतों एवं नगरीय निकायों से आमंत्रित 1200 से अधिक वृद्धजन कार्यक्रम में सम्मिलित हुए। कार्यक्रम में विधिक सेवा प्राधिकरण के अधिवक्ताओं ने वरिष्ठ नागरिकों को विधिक संरक्षण एवं वरिष्ठ नागरिकों भरण-पोषण एवं कल्याण अधिनियम के बारे में जानकारी दी। आर्केस्ट ग्रुप शिवा सुरदास की टीम द्वारा छत्तीसगढ़ी गीतों की मनमोहक प्रस्तुति दी गई।

 

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