फर्जी रजिस्टर भरकर पोषण आहार वितरण की भरपाई करने का खेल जारी,,,

सुपरवाइजर, परियोजना अधिकारी एवं आंगन बाड़ी कार्यकर्ता ने हज़म किया पोषण आहार,,—–
वर्ष 2018,,से2022, के बीच करोना लाक डाउन अवधि में फर्जी आवंटन दिखाया गया टैक सी जी न्यूज संभाग प्रमुख महेन्द्र श्रीवास्तव
मध्य प्रदेश में महिला बाल विकास विभाग में जब 56, दिन का लाक डाउन था कोई परिंदा पर नहीं मार सकता था उस लाक डाउन अवधि में भी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता,सहायिका परियोजना अधिकारी, सुपरवाइजर,, पोषण आहार का वितरण करते थे,, यह पोषण आहार किसे वितरित किया जाता था 👉🏽👉🏽 यह किसी को नहीं पता चूंकि हर घर में लाक डाउन था कोई सड़क पर ही नहीं निकल सकता था परन्तु मध्य प्रदेश में सर्वाधिक आंगनबाड़ी केंद्र कागज़ रजिस्टर में धड़ल्ले से चल रहे थे, बच्चों को नियमित पोषण आहार वितरित किए जाने का स्टाक संधारण किया जाता रहा है,,अब ,सवाल उठता है जिसकी जांच लोकायुक्त या E.OW.से होनी चाहिए,, लाक डाउन अवधि में कोई बच्चे कहीं भी नहीं गये किसी कुपोषित महिला धात्री को कोई या किशोरी को कुछ नहीं दिया गया तो आवंटित स्टाक कहा गया,, या जो पहले से सामग्रियां आई थी वह कहां चली गई,, मध्य प्रदेश के रीवा शहर सहित जिले में आंगनबाड़ी केंद्र में कार्यकर्ताओं एवं सुपरवाइजर के बीच जमकर मनमानी होने से पोषण आहार घोटाला किया गया है,, इस मामले की जांच होने पर काफी लोगों को कानून के कठघरे में खड़ा होना पड़ सकता है, लेकिन मध्य प्रदेश सरकार ही इस पोषण आहार घोटाला की मदद करने में सफल हो रही है,, अब पैसे की वसूली करने के साथ ही फर्जी वितरण व्यवस्था रजिस्टर में दर्ज करने एवं रिपोर्ट भोपाल भेजने का खेल चल रहा है,, चार वर्ष की आवंटित सामग्रियां कहां गई, किसने हज़म किया, गंभीर जांच का विषय है,,